अजमेर के जनाना अस्पताल के निकट पुष्कर बाईपास रोड पर बन रहे आशियाना दी सिटी, अजमेर आशियाना हाउसिंग ग्रुप, वाटिका इलाइट और वाटिका प्राइड के आवासीय एवं व्यावसायिक निर्माण का भूमि विवाद अब पुलिस में पहुंच गया है। आशियाना समूह के विभिन्न प्रोजेक्ट जिस 40 बीघा भूमि पर बन रहे हैं, उसके मालिक जयपुर निवासी दिनेश अग्रवाल ने पुलिस में एक शिकायत भेजी है। इस शिकायत में आरोप लगाया है कि आशियाना समूह के राजीव मालू से पूर्व में एक अनुबंध किया था। इसमें 40 बीघा भूमि को विकसित करने का दायित्व आशियाना समूह को सौंपा गया। लेकिन अनुबंध में भूमि का स्वामित्व राजीव मालू और आशियाना समूह को नहीं दिया गया। लेकिन मालू ने अजमेर विकास प्राधिकरण में कथित तौर पर मिलीभगत कर अपने नाम से भूमि के पट्टे जारी करवा लिए। प्राधिकरण में प्रस्तुत कई दस्तावेजों पर मेरे और मैसर्स अग्रवाल बिल्ड एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड जयपुर के निदेशकों के फर्जी हस्ताक्षर कर लिए। इस संबंध में प्राधिकरण को भी नोटिस दिया गया है। पंजीयन एवं मुद्रांक विभाग से भी कहा गया है कि हमारी भूमि पर बने फ्लैट आदि का बेचान का पंजीयन न किया जाए। इतना ही नहीं पूर्व में जो अनुबंध किया गया था उसे भी अब निरस्त कर दिया गया है। इसके साथ ही अग्रवाल परिवार ने अपने वकील भृगु शर्मा के जरिए अखबारों के माध्यम से अजमेर के लोगों से अपील की है कि वे आशियाना समूह से जुड़े किसी भी प्रोजेक्ट में फ्लैट, भूखंड, विला आदि का क्रय नहीं करें। इस भूमि पर मैसर्स अग्रवाल बिल्ड एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड का स्वामित्व है। यदि कोई व्यक्ति फ्लैट, भूखंड आदि खरीदता है तो यह गैर कानूनी होगा। आशियाना समूह के भूमि विवाद के संबंध में और अधिक जानकारी मोबाइल नम्बर 9314050557 पर दिनेश अग्रवाल से ली जा सकती है।
आरोप सही नहीं:
दूसरी ओर आशियाना समूह के साझेदार सुनील भाटी ने बताया कि अग्रवाल परिवार के आरोप सही नहीं है। प्राधिकरण ने नियम कायदों के तहत ही पट्टे जारी किए हैं। प्राधिकरण में प्रस्तुत सभी दस्तावेजों पर दिनेश अग्रवाल और उनके परिवार के सदस्यों के हस्ताक्षर हैं। अग्रवाल परिवार ने जो आरोप लगाए हैं, उनको लेकर कानूनी राय ली जा रही है। आशियाना के सभी प्रोजेक्ट नियमों के अनुरूप है तथा बेचान भी नियमानुसार ही किया जा रहा है।
आरोप सही नहीं:
दूसरी ओर आशियाना समूह के साझेदार सुनील भाटी ने बताया कि अग्रवाल परिवार के आरोप सही नहीं है। प्राधिकरण ने नियम कायदों के तहत ही पट्टे जारी किए हैं। प्राधिकरण में प्रस्तुत सभी दस्तावेजों पर दिनेश अग्रवाल और उनके परिवार के सदस्यों के हस्ताक्षर हैं। अग्रवाल परिवार ने जो आरोप लगाए हैं, उनको लेकर कानूनी राय ली जा रही है। आशियाना के सभी प्रोजेक्ट नियमों के अनुरूप है तथा बेचान भी नियमानुसार ही किया जा रहा है।
S.P.MITTAL BLOGGER (11-05-2021)
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