Wednesday 28 March 2018

अजमेर में अब भास्कर ने उठाया एलीवेटेड रोड की उपयोगिता का मुद्दा। 
एडीए अध्यक्ष भी फिलहाल नहीं है पक्ष में।
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अंतर्राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त अजमेर शहर के गांधी भवन चैराहे से मार्टिंडल ब्रिज तक बनने वाले ऐलीवेटेड रोड की उपयोगिता का मुद्दा एक बार फिर दैनिक भास्कर ने उठाया है। 28 मार्च को प्रकाशित स्टोरी में बताया गया है कि किन-किन कारणों से ऐलीवेटेड रोड की योजना विफल हो सकती है। असल में कचहरी रोड और स्टेशन रोड के सकड़े मार्ग को लेकर पहले भी ऐलीवेटेड रोड को अनुपयोगी बताया गया था। शिव शंकर हेड़ा ने अजमेर विकास प्राधिकरण के अध्यक्ष का पद संभालते ही कहा था कि ऐलीवेटेड रोड से पहले उनकी दूसरी प्राथमिकताएं हैं जो शहर के लिए जरूरी है। आज दो वर्ष बाद भी हेड़ा अपने इस कथन पर कायम है। सवाल उठता है कि जब उपयोगिता और तकनीकी दृष्टि से ऐलीवेटेड रोड को स्वीकृत नहीं किया था तो अब 250 करोड़ रुपए के इस प्रोजेक्ट पर अमल क्यों किया जा रहा है? जानकारों की माने तो स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट में जो राशि आई उसे ठिकाने लगाने के लिए ऐलीवेटेड रोड को जरूरी बता दिया गया। अब ऐसी संस्थाओं से रिपोर्ट तैयार करवाई गई जो इस रोड को जरूरी मानती है। सवाल 250 करोड़ रुपए के साथ-साथ सैकड़ों दुकानदारों के भविष्य का भी है। जिस मार्ग पर ऐलीवेटेड रोड बनना है उस पर कोई 500 दुकानें होगी। अब देखना है कि भास्कर ने रोड की उपयोगिता का जो मुद्दा उठाया है उस पर सत्तारूढ़ भाजपा से जुड़े नेताओं की क्या प्रतिक्रिया होती है। इस मुद्दे पर शहरवासियों को भी अपनी प्रतिक्रिया देनी चाहिए।

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