Tuesday 3 November 2015

अब शाहरूख को क्यों नजर आ रहा है देश में खराब माहौल?



फिल्म अभिनेता शाहरूख खान को इस देश ने क्या नहीं दिया? शाहरूख के पास आज शोहरत और अपार धन सम्पत्ति है, वह सब इस देश के नागरिकों की वजह से है। लाखों फिल्म प्रेमियों ने शाहरूख को पलकों पर बैठाया है। शाहरूख की खराब फिल्मों को भी प्रशंसकों ने देखा। यह कभी नहीं कहा कि शाहरूख की एक्टिंग खराब है। भारत के नागरिकों की वजह से ही शाहरूख को विदेशों में भी मान सम्मान मिला। यानि कभी भी शाहरूख के साथ देश के लोगों ने भेदभाव नहीं किया। लेकिन अब इन्हीं शाहरूख को लगता है कि देश का माहौल खराब है और इस खराब माहौल से वे चिन्तित हैं। हो सकता है कि अन्य फिल्मकारों की तरह वे भी अपने अवार्ड लौटा दें। देश के खराब माहौल को लेकर 3 नवम्बर को कांग्रेस ने भी संसद से राष्ट्रपति भवन तक पैदल मार्च किया। इसकी अगवाई कांग्रस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी ने की। कांग्रेस को देश का माहौल खराब नजर आ रहा है, यह बात तो सभी के समझ में आती है क्योंकि सत्ता से बाहर रहने की वजह से कांग्रेसियों को अपने घर का माहौल भी खराब लगता है। सत्ताभोगी कांग्रेसियों को नौकर चाकर, पुलिस वाले, ऐशो आराम आदि न जाने क्या क्या चीजें याद आ रही है, इसलिए कांग्रेस का विरोध तो राजनैतिक नजरिए से सही हो सकता है लेकिन शाहरूख खान का विरोध समझ से परे है। किसी भी व्यक्ति ने अभी यह ऐलान नहीं किया है कि वह शाहरूख खान की फिल्म नहीं देखेगा। यह बात अलग है कि अधिक उम्र होने की वजह से शाहरूख को पहले की तरह फिल्में नहीं मिल रही हैं। विज्ञापनों में भी शाहरूख छाए हुए हैं। यानि ऐसा कोई काम नहीं हुआ है जिसकी वजह से शाहरूख खान को देश के माहौल से खतरा नजर आता हो। शाहरूख खान ने असहनशीलता की बात एनडीटीवी न्यूज चैनल पर कही है। ऐसा प्रतीत होता है कि एनडीटीवी जैसे न्यूज चैनल देश में खराब माहौल को लेकर कोई मुहिम चला रहे हैं। इस मुहिम के अन्तर्गत ही शाहरूख खान का इन्टरव्यू प्रसारित किया गया है। पूरा इन्टरव्यू देखने से जाहिर होता है कि प्रायोजित तरीके से शाहरूख खान से देश का माहौल खराब होने की बात कहलवाई गई है। यह पहला मौका नहीं है जब शाहरूख ने अपने ही देश के खिलाफ टिप्पणी की है। इससे पहले भी शाहरूख ने स्वयं को सम्प्रदाय विशेष से जोड़ते हुए गैर जिम्मेदाराना बयान दिए हैं। यहां तक कि जब अमरीका में जांच पड़ताल हुई तो शाहरूख ने कहा कि वे मुसलमान हैं इसलिए अमरीका में भेदभाव हुआ है। यह तो अच्छा हुआ कि शाहरूख खान की जांच अमरीका के एयरपोर्ट पर हुई, यदि नियमों के तहत शाहरूख खान की जांच दिल्ली या मुम्बई एयरपोर्ट पर हो जाती तो न जाने शाहरूख खान की प्रतिक्रिया क्या होती। इसमें कोई दोराय नहीं कि शाहरूख खान एक अच्छे कलाकार हैं और यह उम्मीद की जानी चाहिए कि कोई कलाकार किसी राजनैतिक दल का हथियार न बने।
(एस.पी. मित्तल)(spmittal.blogspot.in)M-09829071511

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